Success in the Gathering! | संगठन की सफलता | (11th) Avyakt Murli Churnings 17-04-69 (2/2)

Success in the Gathering! | संगठन की सफलता | Avyakt Murli Churnings 17-04-69 (2/2)

1. संगठन की सफलता की लिए चाहिए:

  • स्नेह
  • नजदीक सम्बन्ध 
  • सर्विस की जिम्मेदारी
  • ज्ञान-योग का सबूत

2. स्नेह के लिए चाहिए ब्रह्मा-बाप समान सर्वस्व-त्यागी, तब ही सर्व-गुण आएँगे… सरलता, सहनशीलता, निरहंकारी, अवगुण न देखना… सरलता (बालक जैसे) के लिए स्तुति के आधार पर स्थित न हो, कोई भल महिमा करे हमें फल यहां नहीं स्वीकार करना है

3. सर्विस में… चलन में सदा बाबा का चित्र दिखाई देता, तब हमारी वाणी-सूरत से समझेंगे, हमको पढ़ाने वाला कौन है… चलन कैमरा का काम करें… पुरूषार्थी अर्थात एक गलती दुबारा रिपीट नहीं

4. किसी भी बात के बीच (संगम) पर रहकर judgement करनी है… तो यह बीच, बीज है (सूक्ष्म-शक्तिशाली)… बालक (नीर्संकल्प, स्वीकार करना) और मालिक (राय देना) के भी बीच रहना है, नहीं तो टक्कर होगी

सार

तो चलिए आज सारा दिन… जबकि बाबा ने हमें इतना श्रेष्ठ ईश्वरीय परिवार दिया है, तो सदा संगठन में स्नेह-पूर्वक बैलेंस से चलते रहे… इसलिए सर्वस्व-त्यागी बन ज्ञान-योग-गुणों-सेवा के पुरुषार्थ द्बारा सर्वश्रेष्ठ चलन का सबूत दे… सदा श्रेष्ठ स्थिति का अनुभव करते-करते, सतयुग बनाते चले… ओम् शान्ति!


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