Entering Krishnapuri! | Sakar Murli Churnings 22-02-2020

Entering Krishnapuri! | Sakar Murli Churnings 22-02-2020

मुरली सदा क्लास में पूरी सुननी चाहिए… अतः इस लेख का सिर्फ यह उद्देश्य है, कि मुरली सहज याद रहे, ताकि सारा दिन उसका अभ्यास-धारण करना सहज हो जाए… लेकिन मुरली पहले क्लास में ही सुननी है

सार

क्योंकि बाबा निराकार जन्म-मरण रहित सूक्ष्म-बिन्दु है, उनका ही सतसंग-प्रीत से याद द्वारा विजयी बनते (कृष्णपुरी-नई दुनिया-स्वर्ग के मलिक, पावन सर्वगुण-सम्पन्न कृष्ण समान)… इसलिए अच्छे से पढ़ना है (साक्षात्कार की आश नहीं… हम ही ड्रामा के हीरो ऐक्टर्स है), पावन-धारणा मूर्त ईश्वरीय-नशे में रह सबकी सेवा करनी है, 21 जन्म ऊँच-पद जरूर प्राप्त करना है

चिन्तन

जबकि भगवान् हमारे लिए स्वर्ग की सौगात लाये है… तो सदा अपनी ऐम-ओबजेक्ट को सामने रख, ज्ञान-चिन्तन वा योग के प्रयोग द्वारा सदा पावन शान्ति-प्रेम-आनंद से सम्पन्न स्थिति का अनुभव कर… सबकी विशेषताएं देखते, सम्मान देते, मीठे बोल द्वारा सर्वश्रेष्ठ सेवा करते, सतयुग बनाते चले… ओम् शान्ति!


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