Serving with a broad heart & attitude! | Avyakt Murli Churnings 19-04-2020
1. हम स्नेही-सहयोगी-सहजयोगी बच्चों से स्नेह सागर-सर्व खजानों के विधाता-वरदाता बाबा स्नेह-रूहानी मिलन-मेला मनाने आए है… हम थोड़ी सी आत्माएं स्वयं-बाप को पहचान पूज्य बन रही (जिनको सब पूजते), सिर्फ स्नेह-भावना के आधार पर बाबा ने अपना बना लिया (नाउम्मीद से उम्मीदवार बन गये)… अब सबको यह वरदान दिलाने के बेहद उमंग-उत्साह में स्थित है
2. विशाल-कार्य के साथ विशाल दिल-उमंग रखने सिर्फ अपनी ड्यूटी में कुछ नवीनता-रूहानियत ऐड कर बाप के समीप लाना है (दूर हो, तो विश्व-कल्याण की भावना से सेवा करनी)… इसलिए अब हद में समय-संकल्प व्यर्थ नहीं गंवाना (मोल्ड हो रियल गोल्ड बनना), हम जिम्मेवार-सहयोगी है, नाउम्मीद-भयभीत आत्माओं को भविष्य-गोल्डन ऐज की खुशखबरी सुनाने लिये
3. (कुमारियां से)… हम निर्दोष-श्रेष्ठ-महान-पूज्य आत्माएं, विश्व-सेवाधारी बनने की कमाल दिखाने वाली है… अपने जीवन (चाल-चलन-दृष्टि) से पाठ पढ़ाते, सब यही देखना चाहते
Excellent..!!